रायपुर – हरेली के साथ आज से छत्तीसगढ़ में छत्तीसगढ़िया ओलंपिक 2023-24 शुरुआत होगी। छत्तीसढ़िया ओलंपिक में छत्तीसगढ़ के पारंपरिक खेल खेले जाएंगे। ये ओलंपिक 6 चरणों में ढ़ाई महीने तक आयोजित होगी। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की विशेष पहल पर छत्तीसगढ़ के पारंपरिक खेल गतिविधियों को ग्रामीण एवं नगरीय क्षेत्रों में प्रोत्साहित करने, प्रतिभागियों को मंच प्रदान करने और उनमें खेलों के प्रति जागरूकता बढ़ाने तथा खेल भावना का विकास करने के लिए छत्तीसगढ़िया ओलंपिक खेल का आयोजन किया जा रहा है। बता दें कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देशन एवं खेल एवं युवा कल्याण मंत्री उमेश पटेल के मार्गदर्शन में शुरू की गई छत्तीसगढ़िया ओलंपिक में लोग बडे़ उत्साह से भाग लेते हैं। खासकर गांवों में इसका अलग ही रौनक देखने को मिलता है।
छत्तीसगढ़िया ओलंपिक 2023-24 में 16 खेल प्रतियोगिताएं
छत्तीसगढ़ के पारम्परिक खेल प्रतियोगिता दलीय व एकल दो श्रेणी में आयोजित होगी। छत्तीसगढ़िया ओलम्पिक में दलीय श्रेणी में गिल्ली डंडा, पिट्टूल, संखली, लंगड़ी दौड़, कबड्डी, खो-खो, रस्साकसी और बांटी (कंचा) जैसी खेल विधाएं शामिल की गई हैं। वहीं एकल श्रेणी की खेल विधा में बिल्लस, फुगड़ी, गेड़ी दौड़, भंवरा, 100 मीटर दौड़, लम्बी कूद, रस्सी कूद एवं कुश्ती शामिल हैं।
बच्चों से लेकर बुजुर्ग तक तीन आयु वर्ग में होंगे प्रतिभागी
खेल विभाग के अधिकारियों ने यहां बताया कि छत्तीसगढ़िया ओलंपिक खेल प्रतियोगिता में बच्चे से लेकर बुजुर्ग तक हिस्सा ले सकेंगे। प्रतियोगिता में दलीय एवं एकल श्रेणी में 16 तरह के पारम्परिक खेलों को शामिल किया गया है। इस बार के ओलंपिक में एकल श्रेणी में रस्सीकूद एवं कुश्ती को भी जोड़ा गया है।