नई दिल्ली:
Budget 2020: 1 फरवरी को पेश होने वाले बजट में इंश्योरेंस सेक्टर (Insurance Sector) को राहत मिल सकती है. वित्त मंत्री (Finance Minister) निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) इंश्योरेंस सेक्टर में विदेशी निवेश की सीमा बढ़ाने को लेकर ऐलान कर सकती हैं. बीमा सेक्टर से जुड़े जानकारों का कहना है कि वित्त मंत्री इसके अलावा भी कुछ अन्य बड़ी घोषणाएं कर सकती हैं. हालांकि सबसे ज्यादा चर्चा विदेशी निवेश की सीमा को बढ़ाने को लेकर हो रही है.
बीमा क्षेत्र में 74 फीसदी एफडीआई की घोषणा संभव
वर्ष 2014 में तत्कालीन सरकार ने इंश्योरेंस सेक्टर में FDI (Foreign Direct Investment) की सीमा को 26 फीसदी से बढ़ाकर 49 फीसदी की थी. अभी भी विदेशी निवेश की सीमा 49 फीसदी है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक बजट में एफडीआई की सीमा को 49 फीसदी से बढ़ाकर 74 फीसदी करने की घोषणा हो सकती है.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक ऐसा माना जा रहा था कि अगर बीमा क्षेत्र में एफडीआई की सीमा को बढ़ाकर 74 फीसदी कर दिया जाता है तो कंपनियों का मालिकाना हक विदेशी हाथों में चला जाएगा. उसी समस्या के निपटारे के लिए सरकार अब ओनरशिप रेग्युलेशन में बदलाव कर सकती है. इस बदलाव के बाद एफडीआई की सीमा बढ़ने के बावजूद घरेलू कंपनियों में भारतीय प्रमोटरों के अधिकार बने रहेंगे. इस रेग्युलेशन के जरिए भारतीय प्रमोटर और विदेशी हिस्सेदारों के बीच बैलेंस बनाया जाएगा.
बीमा कंपनियों के सामने क्या है समस्या
मौजूदा समय में विस्तार योजनाओं के लिए बीमा कंपनियों के पास पूंजी नहीं है. यही वजह है कि इंश्योरेंस सेक्टर से एफडीआई की सीमा को बढ़ाने की मांग उठ रही है. अगर सरकार आगामी बजट में एफडीआई की लिमिट को बढ़ाने को लेकर फैसला ले लेती है तो इससे घरेलू इंश्योरेंस सेक्टर को काफी फायदा होगा. साथ ही घरेलू बाजार में नई नौकरियों के मौके भी बनेंगे.