बलौदाबाजार – आज सोमवार को बड़ी संख्या में सतनामी समाज के लोग बलौदा बाजार पहंचे, यहां इन्होंने विरोध प्रदर्शन करते हुए कलेक्टर ऑफिस को घेर लिया. फिर कुछ ही देर बाद बेकाबू भीड़ ने कलेक्टर कार्यालय को आग के हवाले कर दिया. आइए खबर के माध्यम से जानते हैं कि आखिरकार ये पूरा मामला क्या है?
कलेक्टर ऑफिस में क्यों आग लगाई गई?
दरअसल, जैतखाम में हुई तोड़-फोड़ के चलते सतनामी समाज के लोग प्रशासन से काफी नाराज थे, और इसी सिलसिले मे ये सब आज विरोध प्रदर्शन के लिए कलेक्टर ऑफिस पहुंचे थे. प्रदर्शन के दौरान कई हजारों लोग इकट्ठा हो गए और उन्होंने सुरक्षा घेरे को तोड़ना कर दिया, फिर कलेक्टर कार्यालय के अंदर जा घुसे. बेकाबू भीड़ ने सिक्योरिटी में लगे पुलिसकर्मियों के साथ मारपीट की और फिर कलेक्टर ऑफिस में ही आग लगा दी. साथ ही बाहर खड़ी कई प्रशासनिक गाड़ियों को भी आग के हवाले कर दिया.
प्रशासन से क्यों नाराज हैं सतनामी?
बता दें कि बलौदा बाजार के गिरौदपुरी के महकोनी गांव में संत अमरदास की तपोभूमि स्थित है. यहां पर कुछ बदमाशों ने सतनामी समाज के पवित्र प्रतीक माने जाने वाले जैतखाम को काट दिया था. अपराधियों पर सख्त कार्रवाई की मांग को देखते हुए पुलिस ने कुछ लोगों को हिरासत में भी लिया, लेकिन सतनामी समाज के लोग प्रशासन की कार्रवाई के संतुष्ट नहीं. यही कारण है कि पूरे सतनामी समाज में गुस्सा भरा हुआ है और वह आज विरोध प्रदर्शन के लिए इकट्ठा हुआ.
राज्य के उपमुख्यमंत्री ने उठाया ये कदम
हाल ही घटना और सतनामी समाज की नाराजगी को देखते हुए राज्य के उपमुख्यमंत्री और गृहमंत्री विजय शर्मा ने जैतखाम में हुई तोड़फोड़ की न्यायिक जांच के आदेश दिए हैं. हालांकि सतनामी समाज इस कृत्य को करने वालों के खिलाफ सीबीआई जांच की मांग कर रहे हैं.