बागबासा – उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को आरोप लगाया कि त्रिपुरा विधानसभा चुनाव साथ लड़ रही मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) और कांग्रेस भगवान राम या कृष्ण के अस्तित्व में विश्वास नहीं करती हैं. आदित्यनाथ ने उत्तरी त्रिपुरा के बागबासा में एक चुनावी रैली में दावा किया कि इन दोनों दलों ने उत्तर प्रदेश में काशी विश्वनाथ मंदिर कॉरिडोर और राम मंदिर के निर्माण को रोकने की भी कोशिश की.
आदित्यनाथ ने उत्तरी त्रिपुरा के बागबासा में रैली में कहा कि त्रिपुरा के लोगों ने कई वर्षों तक कम्युनिस्ट और कांग्रेस दोनों के ‘कुशासन’ को देखा है, लेकिन राज्य ने पहली बार भाजपा के शासन काल में विकास दर्ज किया है. त्रिपुरा में ज्यादातर समय कांग्रेस और माकपा ने शासन किया. राज्य में वाम शासन का अंत कर भाजपा 2018 में सत्ता में आई. माकपा और कांग्रेस ने 16 फरवरी को होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए गठजोड़ किया है.
आदित्यनाथ ने कहा, ‘‘कांग्रेस और वामपंथियों ने हमेशा काशी विश्वनाथ मंदिर कॉरिडोर के निर्माण को रोकने की कोशिश की. अयोध्या में भी राम मंदिर निर्माण के पहले वे सबसे बड़े रोड़े थे. वे आस्था का सम्मान नहीं करना चाहते हैं. उन्होंने दावा किया कि राम या कृष्ण का कोई अस्तित्व नहीं था.’’ मुख्यमंत्री ने कहा कि अब अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण अंतिम चरण में है. आदित्यनाथ ने यह भी आरोप लगाया कि कांग्रेस और माकपा तेज गति से जारी विकास प्रक्रिया को बाधित करने का प्रयास कर रही हैं.
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘मैंने 2018 के विधानसभा चुनाव से पहले त्रिपुरा को देखा है और राज्य में विकास की कमी देखी है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में राज्य का विकास हुआ है.’’ सरकार की कल्याणकारी योजनाओं का जिक्र करते हुए आदित्यनाथ ने दावा किया कि पहली बार सभी लोगों को लाभ मिल रहा है चाहे वे किसी भी राजनीतिक विचारधारा को मानते हों. उन्होंने कहा कि यह ‘‘डबल-इंजन’’ वाली सरकार के कारण संभव हुआ है.
कांग्रेस पर हमला करते हुए आदित्यनाथ ने कहा, ‘‘जब देश में कांग्रेस का शासन था, तब भ्रष्टाचार अपने चरम पर था. कोयला घोटाला, 2जी घोटाला और राष्ट्रमंडल खेल आयोजन घोटाला कांग्रेस के शासन के दौरान हुआ. भ्रष्टाचार कांग्रेस का पर्याय बन गया.’’