रायपुर – प्रदेश चैंबर ऑफ़ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रियल एसोसिएशन के अध्यक्ष आनंद चोपकर और कार्यकारी अध्यक्ष कन्हैया अग्रवाल ने राज्य में ई-वे बिल के प्रावधानों में दी गई छूट को समाप्त किए जाने का कड़ा प्रतिकार करते हुए कहा कि सरकार के इस निर्णय से अफसरशाही बढ़ेगी, व्यापारी परेशान होगा और भ्रष्टाचार का बोलबाला होगा ।
उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ में व्यवसायियों के लिए अब जिले के अंदर भी 50 हजार रुपए मूल्य से अधिक के सामान विक्रय कर परिवहन करने पर ई-वे बिल जेनरेट करना आवश्यक होगा, जिससे व्यापार में जटिलता बढ़ेगी और व्यापारियों को जबरन चोर ठहरा कर वसूली होगी।
इनका यह भी कहना है कि सरकार बने अभी 06 महीने भी नहीं हुए हैं और व्यापारियों के ऊपर लगातार आफत आ रही है। पहले स्टेट जीएसटी के हजारों की संख्या में जारी नोटिस से व्यापारी घबराया हुआ था अब ई – वे बिल के रूप में एक और मुसीबत आ गई है। उन्होंने कहा कि सरकार व्यापारियों को प्रताड़ित करना तत्काल बंद करे। जीएसटी के नोटिस ऑन के माध्यम से जिस तरह से अधिकारी व्यापारियों को धमका रहे हैं उस पर तत्काल रोक लगनी चाहिए और जिले के अंदर पचास हजार से अधिक के प्रत्येक बिल पर लगने वाले ई वे बिल के कानून को सरकार तत्काल प्रभाव से वापस ले अन्यथा व्यापारी आंदोलन के लिए बाध्य होंगे।