17 दिसंबर को इस साल का आखिरी पंचक शुरू होगा, ये रोग पंचक होगा. ऐसे में अगले पांच दिन तक भूलकर भी कुछ विशेष काम न करें. जानें दिसंबर के रोग पंचक का समय, नियम
रायपुर – हिंदू धर्म में अच्छा मुहूर्त देखकर ही शुभ काम किए जाते हैं, मान्यता है अशुभ मुहूर्त में किए गए काम अच्छा परिणाम नहीं देते. संघर्ष बढ़ता है सफलता मिलने की संभवानाएं कम हो जाती है.
यही वजह है कि शुभ कार्य करने से पहले पंचक पर जरुर विचार किया जाता है. साल 2023 का आखिरी पंचक रविवार से शुरू हो रहा है, इसलिए ये रोग पंचक कहलाएगा. रोग पंचक को बहुत खतरनाक माना गया है, जानें दिसंबर में रोग पंचक कब से कब तक रहेगा, इस दौरान कौन से काम नहीं करना चाहिए.
दिसंबर पंचक 2023
साल 2023 का आखिरी रोग पंचक 17 दिसंबर 2023 को दोपहर 03.45 मिनट पर शुरू होगा और इसकी समाप्ति 21 दिसंबर 2023 को रात 10.09 मिनट पर होगी. ज्योतिषियों के अनुसार, जब चंद्रमा धनिष्ठा नक्षत्र के तृतीय चरण और उत्तराभाद्रपद, पूर्वाभाद्रपद, रेवती और शतभिषा नक्षत्र के चारों चरणों में भ्रमण करता है तो पंचक काल शुरू होता है.
रोग पंचक क्या है ?
रविवार को शुरू होने वाला पंचक रोग पंचक कहलाता है. इसके प्रभाव से ये पांच दिन शारीरिक और मानसिक परेशानियों वाले होते हैं. ऐसे में रोग पंचक की अवधि में पांच दिन तक सेहत के प्रति लापरवाही न बरतें, क्योंकि इसके प्रभाव से बीमारियों का खतरा अधिक बढ़ सकता है.
रोग पंचक में नहीं करें ये काम
- पंचक के दौरान घास, लकड़ी आदि जलने वाली वस्तुएं इकट्ठी नहीं करना चाहिए, इससे आग लगने का भय रहता है.
- रोग पंचक के दौरान सेहत को लेकर कोताही न बरतें. जो लोग बीमारियों जूझ रहे हैं वह अपना ध्यान रखें.
- पंचक के समय चारपाई बनवाना अच्छा नहीं माना जाता. कहते हैं ऐसा करने से कोई बड़ा संकट खड़ा हो सकता है.
- पंचक के दौरान दक्षिण दिशा में यात्रा नही करनी चाहिए, क्योंकि दक्षिण दिशा, यम की दिशा मानी गई है. ये हानिकारक माना गया है.